हिन्दी साहित्य का इतिहास
By अब्राहम जार्ज ग्रियर्सन
- भाग→ 17
- अनुच्छेद→ 343-351
- अनुसूची→ 8
- मूल संविधान में भाषा→14
- वर्तमान में भाषा→22
- ज्ञानपीठ पुरस्कार में भाषा 23 (23 वीं भाषा अंग्रेजी 2018 से )
- अंग्रेजी भाषा में पहला ज्ञानपीठ पुरस्कार मिला = अमिताभ घोष
- अन्य पुरस्कार में भाषा = 24 (24वीं भाषा भोजपुरी / राजस्थानी)
- जोड़ी गयी भाषा का क्रम→14+1+3+4 = 22
सूत्र – साला कमीना बूढ़ा SDM
साला→ सिन्धी in जम्मू कश्मीर और लद्दाख
जोडी गयी 21 वाँ s/s 1967
By PM इन्दिरा गाँधी
Note→ सिंधी का अधिकारिक दर्जा समाप्त 2020 में और इसके बदले में जोड़ी गई भाषा – 2 (Hindi + English)
अब जम्मू-कश्मीर और लद्दाख की भाषा = 5
(i) कश्मीरी
(ii) डोगरी
(iii) उर्दू
(iv) हिन्दी
(v) अंग्रेजी 2020
क→ कोकणी in गोवा
मी→ मणिपुरी in मणिपुर 71 वाँ S/s 1992 by P. v नरसिम्हा राव
ना→नेपाली in नेपाल से टच राज्यों
( सिक्किम में सबसे ज्यादा बोली जाती है)
बूढ़ा→ बोडो in असम
S→ संथाली in झारखण्ड 92 वाँ s/s 2003 by P.M. – अटल बिहारी वाजपेयी
D → डोगरी in जम्मू-कश्मीर
M→मैथली in छत्तीसगढ
- भारत की कुल भाषा = 22
सूत्र → कह मत अब से उडने गप
क→(1) कोकणी in गोवा, दमन }ho, दादर नगर हवेली, दक्षिण महाराष्ट्र + केरल
(2) कन्नड in कर्नाटक
(3 ) कश्मीरी in कश्मीर और लद्दाख
ह→ हिन्दी in U.P, बिहार, M.P, H. P, हरियाणा, उत्तराखण्ड, छत्तीसगढ़, झारखण्ड, राजस्थान, दिल्ली
Note→ हिन्दी सम्पूर्ण उत्तर भारत सहित लगभग सभी हिस्से में बोली जाती है।
- हिन्दी राजभाषा बनी → 14-Sep-1949
- P. की दूसरी राजभाषा→ उर्दू (1989)
- तेलंगाना की दूसरी राजभाषा→ उर्दू (2018)
Note→ संस्कृत पूरे भारत में सबसे कम बोली जाने वाली भाषा है जिसे कुल 24821 व्यक्तियों }kjk बोला जाता है जो कुल जनसंख्या का 0.01% है।
- पूरे भारत में बोली जाने वाली भाषाओं का क्रम→
Trick→ हिन्दी पढ़ने के लिये बालो में तेल लगाओ
(1) हिन्दी (46.63%) (2) बंगाली (8.3% )
(3) मराठी (7.09%) (4) तेलगू ( 6.93%)
हिन्दी बोलने वाले देश→ भारत के सभी पडोसी देश
जैसे:- पाकिस्तान, नेपाल, भूटान, बांग्लादेश, श्रीलंका, अफगानिस्तान, म्यांमार मॉरीशस ने हिन्दी को राजभाषा का दर्जा प्रदान कर रखा है। मॉरीशस की राजभाषा हिन्दी है।\इंग्लैण्ड, ब्रिटेन, कनाडा, श्रीलंका, सिंगापुर, द. अफ्रीका, यूगांडा, त्रिनाड एव टोबेगो आदि देशो में भी हिन्दी बोली जाती है ।
म→(1) मलयालम in केरल + लक्षव्दीप + कर्नाटक + तमिलनाडू
(2) मराठी in मराराष्ट्र + गुजरात + दमनन व्दीव + दादर नगर हवेली
(3) मैथली in छत्तीसगढ़ (उ. भारत + नेपाल के तराई क्षेत्र में बोली जाती है।)
(4) मणिपुरी in मणिपुर +असम + मिजोरम + त्रिपुरा (बांग्लादेश और म्यांमार में भी )
त→(1) तमिल in तमिलनाडू और पडुचेरी
(2) तेलगू in तेलंगाना + आध्रप्रदेश
Note→ तमिल, श्रीलंका और सिंगापुर, मलेशिया, मॉरीशस और वियतनाम में भी बोली जाती है। ( तमिल श्रीलंका की राष्ट्रभाषा भी है।)
Note→ 2018 से उर्दू तेलंगाना और आध्रप्रदेश की दूसरी राजभाषा बनी ।
अ → असमिया in असम
ब→ (1) बोडो in असम ( अन्य नाम→ तिब्बती बर्मी भाषा)
जिसे भारत के उत्तरी नेपाल और बांग्लादेश में रहने वाले लोग भी बोलते है।
(2) बंगाली in प. बंगाल +असम + त्रिपुरा + बांग्लादेश
से→ (1) संस्कृत in उत्तराखण्ड
केवल पढ़ाई जाती है भारत के किसी भी भाग में नहीं बोली जाती है
Note→ कर्नाटक के मैत्तूर या माथुर गाँव में संस्कृत बोली जाती है।
(2) संथाली in झारखण्ड + उडीसा + छत्तीसगढ़ + त्रिपुरा + बाग्लादेश + नेपाल + भूटान
(3) सिन्धी in जम्मू-कश्मीर + लद्दाख + गुजरात और पाकिस्तान के सिन्ध प्रांत में 2020 में अधिकारिक दर्जा समाप्त
- जम्मू और लद्दाख की कुल भाषा = 5 शास्त्रीय भाषा= 6 Trick:- तास टीकम ताऊ
(i) कश्मीरी ता→ तमिल 2004 स→ संस्कृत, 2005
(ii) डोगरी टी→ तेलगू , 2008 क→ कन्नड, 2008
(iii) उर्द म→ मलयालम ,2013
(iv) हिन्दी ताऊ→ उडिया, 2014
(v) अंग्रेजी- 2020 से शुरू Note→ 2020 में महाराष्ट्र विधानसभा ने
मराठी को शास्त्रीय भाषा बनाने के लिये
कानून पास किया ।
उ→ (1) उडिया in उड़ीसा
(2) उर्दू in जम्मू-कश्मीर (U.P + आन्ध्रप्रदेश + तेलंगाना)
ड→ डोगरी in जम्मू -कश्मीर + लद्दाख
Note→डोगरी पंजाबी की उपबोली है।
ने→ नेपाली in सिक्किम+ प.बंगाल + उत्तर पूर्वी राज्य + भूटान + म्यांमार और तिब्बत
- नेपाली नेपाल की राष्ट्रभाषा भी है।
ग→ गुजराती in गुजरात
प→ पंजाबी in पंजाब(हिमाचल प्रदेश+पंजाब+हरियाणा + दिल्ली + राजस्थान + चण्डीगढ़)
- पंजाबी बोलने वाले देश → पाकिस्तान, अमेरिका, कनाडा, ऑस्ट्रेलिया
Note → अहिन्दी भाषी राज्य :- महाराष्ट्र, गुजरात, पंजाब
केन्द्रशासित प्रदेश→ चण्डीगढ़, अण्डमान निकोबार की सरकार ने हिन्दी को 2nd राजभाषा का दर्जा दिया है।
Note → यदि दमन दीव, दादर नगर हवेली की भाषा पूछी गई है और कोकणी व मराठी दोनो option में दिये हुए है तो सही option कोकणी को माना जाता है।
अंगामी→ नागालैण्ड की 16 बोलियो में से एक प्रमुख बोली और नागालैण्ड की सम्पर्क भाषा है।
भाषा के भाग = 2
हिन्दी परिवार की भाषा या भारोपीय भाषा द्रविड परिवार की भाषा
या उत्तर भारत की भाषा या दक्षिण भारत की भाषा
या आर्य परिवार की भाषा या पहाड़ियाँ भाषा
या पहाड़ / पहाडी भाषा Note→ द्रविड भाषा की उत्पत्ति = तमिल भाषा से
या अरेमाइक Total = 4
Total = 18 द्रविड परिवार
परिगणित- 4 अपरिगणित- 14
(1) तमिल ( सभी ग्रंथ इसी मे)
(2) तेलगू
(3) मलयालम
(4) कन्नड
अपरिगणित→ कुएगी, कोडगू, गोण्डी, जापतू, खोण्ड या कोंद, किसन, कोलामी, कोण्डा, कोया, कुई, कुडुख उराव, पारजी, माल्वो, दुरुंवा ।
Article 343-351
Articl→ 343 (i) → संघ की राजभाषा हिन्दी होगी और लिपि देवनांगरी होगी
Note→ मराठी, नेपाली, बंगाली, हिन्दी चारो भाषा देवनागरी लिपि में लिखी जाती है।
Articl 343 (i i) → अंग्रेजी को सहायक भाषा का दर्जा केवल 15 साल 1950-1965
Note → संसद ने राजभाषा अधिनियम 1963 के तहत यह प्रावधान किया कि 26- Jan 1965 से हिन्दी राजभाषा तो रहेगी लेकिन अंग्रेजी सभी सरकारी कार्यों के लिये प्रयोग होगी
अंग्रेजी समाप्त करने के लिये राजभाषा संशोधन 1968 सभी विधानमण्डल- जिन्होंने हिन्दी को राजभाषा के रूप में अपनाया है लिखकर देंगे उसके बाद संसद में पास होना आवश्यक है।
Articl 343(iii) → हिन्दी और अंग्रेजी दोनो भारत की राजभाषा लेकिन अंग्रेजी 22 भाषा में शामिल नहीं
अंग्रेजी की लिपि→ रोमन रोमन लिपि की देन→ सुभाष चन्द्र बोस
Note → 343 (i) में यह भी कहा गया है कि संघ के लिये प्रयोग होने वाले अंको का रूप भारतीय अंको का अन्तराष्ट्रीय रूप होगा। ( मानक अंक ) १, २, ३ ]
Article 344 → भारत में एक राजभाषा आयोग होगा ।
Article 345 → कोई भी राज्य 22 भाषाओं में से कोई सी भी भाषा अपना सकता है यदि इन 22 भाषाओं में से कोई भी भाषा नहीं अपनाता तो उसकी स्वाभाविक
अंग्रेजी भाषा हो जाती है। नागालैण्ड, मिजोरम, मेघालय इनकी भाषा अंग्रेजी है
(345 में राज्यो की राजभाषा का वर्णन)
Articde – 346→ कोई भी राज्य दूसरे राज्य को इन 22 भाषाओं में से पत्राचार / संचार कर सकता है।
Articli 347→ कोई भी नयी भाषा को जोड़ने या अपनाने के लिये उस राज्य का विधानमण्डल सिफारिश कर सकता है और इसकी अनुमति राष्ट्रपति प्रदान करता है।
Article 348→ S.C. and H.C. संसद और विधानमण्डल की भाषा अंग्रेजी लेकिन यदि H.C. and S.C का Decision हिन्दी में मांगा जाए तो हिन्दी में होगा
- 2020 में जोडी गई भाषा→ फ्रेंच, कन्नड, असमिया, उडिया, तेलगू ।
Article 349→ भाषा से सम्बन्धित कोई भी कानून संसद बनाएगा ।
Article – 350→ कोई भी व्यक्ति अपनी परेशानी के लिए केन्द्रीय राज्य सरकार के किसी भी अधिकारी को अपनी भाषा में आवेदन कर सकता है
Article – 350 (क) → प्राथमिक शिक्षा मातृभाषा में दी जाएगी।
Article – 350 (ख) → भाषाओं के लिये एक अल्पसंख्यक आयोग होगा (हिन्दुओ को छोड़कर सभी अल्पसंख्यक है।)
Article 351 → हिन्दी का विकास 10 Jan अन्तर्राष्ट्रीय हिन्दी दिवस। भारत के संघ का
कर्तव्य है वह हिन्दी भाषा का प्रचार प्रसार करे
Article120→ संसद का कार्य हिन्दी या अंग्रेजी में होगा लेकिन लोकसभा अध्यक्ष या
राज्यसभा के सभापति की अनुमति के बाद कोई भी M.P अपनी मातृभाषा में विचार रख सकता है।
Article 210→ विधानमण्डल की भाषा हिन्दी व अंग्रेजी लेकिन विधानसभा के अध्यक्ष या
विधानपरिषद के अध्यक्ष की अनुमति के बाद कोई भी M.L.A / M.LC अपनी मातृभाषा में विचार रख सकत है।
Article 121→ कोई भी सांसद HC / SC के जजो के आचरण के बारे में बात नहीं कर सकता ।
Article 211→ कोई भी M.L.A. / M.L.C. H.C /S.C के जजो के आचरण के बारे में बात नहीं करेगा ।
Article 29→ अल्पसंख्यको को किसी भी सार्वजनिक संस्था में प्रवेश से मना नहीं किया जाएगा।
Article30→ अल्पसंख्यक अपनी धार्मिक संस्था खोल सकते है।
राजभाषा आयोग
- स्थापना→ 7 June -1955-56
- कार्य→ भाषाओ को मान्यता प्रदान करना
- भाषा के लिये कानून→ साधारण विधेयक से
- कार्यकाल→ प्रारम्भ में 5 साल बाद में 10 साल
- प्रथम अध्यक्ष→ B. G. खैर
- रिपोर्ट आई→1956
- राजभाषा आयोग के लिये समिति→ संयुक्त संसदीय समिति
- कुल सदस्य→ 30 (20 L/S + 10 R/S )
- समिति का कार्य→ राजभाषा आयोग की सिफारिशो की जाँच करना व राष्ट्रपति को
अपनी रिपोर्ट सोपना। राष्ट्रपति के साइन भी जरूरी है
- Note→ प्रथम संसदीय समिति का गठन Nav – 1957 में हुआ था जिसके पहले अध्यक्ष P के पहले C.M. व भारत रत्न से सम्मानित गोविन्द वल्लभ पंत थे।
- राजभाषा आयोग स्थायी व विधायी बना→ 1961 (New Delhi )
- राजभाषा आयोग का Name change→1961 में (वैज्ञानिक एंव तकनीकी शब्दावली आयोग)
- राजभाषा आयोग का पूर्ण रूप से Name change→ 26 – Sep-1985 में
M.H.R.D. (Ministry of Human Resources and Development) (मानव संसाधन एवं विकास मंत्रालय)
- वर्तमान में नाम→ शिक्षा मंत्रालय(29 – July – 2020 )
- प्रथम शिक्षा मंत्री→ रमेश पोखरीयाल निशंक (शिक्षा एवं कौशल विकास मंत्री)
- वर्तमान शिक्षा मंत्री → धमेन्द्र प्रधान
- अध्यक्ष→ विनय कुमार पाठक
- समिति जिसके कहने पर Name change हुआ→ कस्तूरी रंगन + सुब्रमण्यम समिति
Note → भारत के अन्दर जितनी भी समिति होती है उनका कार्यकाल 1 साल होता है।
- संसदीय समितियो का कार्यकाल→ 1 वर्ष
- अध्यक्ष→ हमेशा विपक्ष पार्टी का
- कार्य→ सत्ता पार्टी की जाँच करना
- शिक्षा मंत्रालय का कार्य→ भाषाओं को शामिल करना और हटाना और हिन्दी का अधिक-
से अधिक विकास करना तथा हिन्दी भाषी क्षेत्रो के लोगों का ध्यान रखना
- कुल शिक्षा नीति बनी → 3 बार
1st time → 1968 2nd time → 1986 3rd time → 29-July-2020
- शिक्षा नीति के लिये संविधान संशोधन→1992
- शिक्षा नीति लागू करने वाला पहला राज्य→ हिमाचल प्रदेश (P)
- राष्ट्रीय शिक्षा नीति लागू करने की घोषणा करने वाला पहला राज्य→ कर्नाटक
2nd राज्य → मध्य प्रदेश
- उच्च शिक्षा संस्थानों में 2020 राष्ट्रीय शिक्षा नीति लागू करने वाला पहला राज्य (100%) → गोवा CM (प्रमोद सामन्त ) 2022 में
NEP (National Education Policy) लागू करने वाला पहला राज्य→ उत्तराखण्ड (प्राइमरी)
Note → उत्तराखण्ड में 12-July – 2022 से नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति लागू की जा चुकी है।
NEP 2020 में 10+2 के स्थान पर आने वाला नया फार्मूला
5 + 3 + 3 + 4
(2nd + 5th +8th +12th )
- शिक्षा विषय है→ समवर्ती सूची का (75:25)
- पूर्वोत्तर राज्य में→ (90:10) 42वाँ S/s 1976 से
Note→ 1919 भारत सरकार अधिनियम व्दारा शिक्षा को राज्य सूची में शामिल किया गया ।
- पूरे भारत में NEP लागू होगी → 2023 तक
- राजभाषा का अर्थ→राज काज की भाषा या जो भाषा देश के कार्यों के लिये प्रयोग होती है
- प्राचीन नाम→ दरबारी भाषा
- मुगलो की दरवारी भाषा→ फारसी
- बौध्दो की दरबारी भाषा → पालि
- जैन की दरबारी भाषा → प्राकृत
Note → (1) सर्वप्रथम हिन्दी को राष्ट्रभाषा का दर्जा दिये जाने का विचार रखने वाले
गुजरात के महान कवि श्री नर्मद जी थे
(2) श्री बालगंगाधर तिलक ने 1918 में हिन्दी भाषा को भारत की राजभाष के रूप में
घोषणा की थी।
- हिन्दी का व्याकरण लिखने वाला → जॉन जेशुओ केटलर
- हिन्दी का 2nd व्याकरण लिखने वाला → कान्ता प्रसाद गुरु
- हिन्दी सप्ताह→ 7 से 14 सितम्बर
- हिन्दी का दक्षिण भारत का मुख्यालय→ चेन्नई
- उत्तरी भारत का मुख्यालय→ आगरा
भारतीय लिपियाँ
ब्राह्मी लिपि( बाएँ से दाएँ लिखी जाती है ) खरोष्ठी लिपि ( दाएँ से बाएँ लिखी जाती है।
उत्तरी ब्राह्मी कुछ विद्वान भारतीय लिपि तो कुछ अर्मेइक
शरदा/नागरी/देवनागरी लिपि) /आरमेइक/आरमाइक से निकली लिपि मानते है।
दक्षिणी ब्राह्मी ( कन्नड़, तमिल, कलिंग लिपि)
Note→ देवनागरी, बँगला, तमिल, तेलगू, मलयालम तथा गुरुमुखी लिपि का विकास ब्राह्मी
लिपि से ही हुआ है
- हिन्दी भाषा की लिपि→ देवनागरी
- देवनागरी लिपि मूलत: अक्षरात्मक जबकि रोमन लिपि वर्णात्मक होती है।
- देवनागरी लिपि नाम दिया→ तिलक ने ( तिलक फ़ॉन्ट इसी से सम्बन्धित है।
- देवनागरी लिपि में ‘चाइना इलेस्ट्रेटा’ प्रथम प्रकाशित पुस्तक है ।
- भाषाएँ जो देवनागरी लिपि में लिखी जाती है→ हिन्दी, मराठी, संस्कृत, नेपाली, कोंकणी, बोडो,
डोगरी
देवनागरी लिपि के नामकरण का आधार तथा विशेषताएँ →
(1) दक्षिण भारत में इसे ‘नन्दनागरी’ कहते है।
(2) गुजरात के नागर ब्राह्मणों द्वारा प्रयुक्त होती थी।
(3) नागर स्थापत्य शैली से नागरी नाम पड़ा।
(4) आक्षरिक या अक्षरात्मक लिपि है
(5) 14 सितम्बर1949 को अनुच्छेद-343 के व्दारा इसे राजलिपि घोषित किया गया।
(6) यह वर्णमाला पर आधारित है।
(7) नागरी टाइप बनाने का श्रेय→ पंचानन व चार्ल्स विलिकन्स को है।
महत्वपूर्ण लिपियाँ (केन्द्रीय हिन्दी निदेशालय के अनुसार )
भाषा लिपि भाषा लिपि
उर्दू ,अरबी फारसी,अरबी पंजाबी गुरुमुखी
अँग्रेजी, फ्रेंच लहँदा लण्डा
स्पेनिश, जर्मन रोमन सिन्धी अरबी / देवनागरी(मुख्य लिपि लण्डा थी)
रूसी, बुल्गेरियन रुसी मैथिली तिरहुत/ देवनागरी
कश्मीरी पश्तो- अरबी तमिल तमिल
तेलुगू तेलुगू बँगला बँगला
मणिपुरी मैती मलयालम मलयालम
असमी असमिया ओडिया ओडिया
कन्नड कन्नड सन्थाली ओलचिक / देवनागरी
गुजराती गुजराती (कैथी से मिलती है) तथा देवनागरी भी
देवनागरी लिपि के सुधार हेतु प्रयास
(1) बारह खड़ी का प्रचलन (सावरकर बन्धुओं व्दारा)
(2) ‘तिलक फॉन्ट’ (तिलक टाइप) → बालगंगाधर तिलक द्वारा 190 टाइपो का फॉन्ट
(3) श्यामसुन्दर दास का सुझाव → पंचम् वर्णों के स्थान पर अनुस्वार(.)का प्रयोग करना चाहिए।
(4) आचार्य नरेन्द्र देव समिति (1947 ई.) द्वारा प्रयास ।
(5) नागरी प्रचारिणी सभा द्वारा ( 1893 ई.) किये गये प्रयास ।
(6) काका कालेकर उपसमिति के द्वारा किए गये प्रयास ।
देवनागरी लिपि का पहली बार प्रयोग किया→ गुजरात के राजा जयभट्ट ने
हिन्दी के लिये राजभाषा शब्द का सर्वप्रथम प्रयोग→ गुजरात के H.C ने.
देवनागरी लिपि की उत्पत्ति→ ब्राह्मी लिपि से
लिखी जाती है→ बाएँ से दाएँ या ऊपर से नीचे
Note→ एकमात्र लिपि उर्दू की फारसी / खरोष्ठी जो लिखी जाती है दाएँ से बाएँ या नीचे से ऊपर
Note→ हिन्दी, मराठी, नेपाली एंव बंगाली देवनागरी लिपि में लिखी जाती है।
- पंजाबी की लिपि→ गुरुमुखी
- उर्दू की लिपि→ फारसी / खरोष्ठी
- अंग्रेजी की लिपि→ रोमन
- रोमन लिपि→ फ्रेंच, जर्मनी, स्पेनिश, पॉलिश, अंग्रेजी
- रोमन लिपि का सम्बन्ध→ सुभाष चन्द्र बोस
- सर्वपल्ली राधाकृष्णन ने 28-29 – Nov -1953 को लिपि सुधार परिषद् की बैठक की अध्यक्षता की
- उत्तर प्रदेश में देवनागरी लिपि को लिखित हिन्दी के रूप में oct-1947 में लागू की गयी जबकि 26- Jan – 1968 से समस्त कार्यालयो में इसका प्रयोग अनिवार्य कर दिया ।
Note→ भारत के लिये हिन्दी भाषा का सबसे पहले नाम राजाराम मोहन राय ने सुझाया
था और इसके बाद महात्मा गाँधी ने हिन्दी का सुझाव दिया।
Note→ रूसी की लिपि→ देवनागरी
हिन्दी शब्द की व्युत्पत्ति →भोलानाथ तिवारी के अनुसार, हिन्दी शब्द की उत्पत्ति ‘हिन्दु’ शब्द से हुई है, जो संस्कृत शब्द ‘सिधु’ का रूपान्तरण है।
Note→ शरफुद्दीन यज्दी ने ‘जफरनामा’ में हिन्दी शब्द का प्रयोग किया अमीर खुसरो ने भी ‘हिन्दी’ शब्द का प्रयोग किया है।
Note→ चीनी लोग भारत को यिन-तू नाम से पुकारते थे
राजा शिव प्रसाद सितारे हिन्द ने अखबार निकाला→ बनारस अखबार in 1844
भाषा→ हिन्दुस्तानी in भारतेन्दु युग
हिन्दी दिवस 14 सितम्बर
Note→11 से 14 Sep-1949 तक हिन्दी, अंग्रेजी, संस्कृत और हिन्दुस्तानी इन चारो भाषाओ को लेकर विवाद चला जिसमें नियम समिति ने 14 – Sep – 1949 को हिन्दी के पक्ष में फैसला लिया ।
परिणाम→14 सितम्बर हिन्दी दिवस के रूप में घोषित ।
समझौता→ मुंशी अंय्यगर फॉर्मूला
हिन्दी को संवैधानिक रूप से दर्जा मिला 14-Sep-1949 को
संविधान में जोड़ी गयी→ 26 – Jan – 1950
अन्तर्राष्ट्रीय हिन्दी दिवस, 10 – Jan – 1975
Starting→ 1975 in नागपुर महाराष्ट्र by Indira Gandhi
विश्व हिन्दी सचिवालय→ मॉरीशस 2008 में बना
खडी बोली का आदर्श या मानक रूप कहाँ मिलता है → मेरठ
रूसी की लिपि→ देवनागरी
अब तक कुल सम्मेलन→12
1st →1975 नागपुर (महाराष्ट्र) 2nd → 1976 पोर्ट ऑफ लुईस in मॉरीशस
3rd → 1983 नई दिल्ली 4th →1993 पोर्ट ऑफ लुईस in मॉरीशस
5th →1996 पोर्ट ऑफ स्पेन (त्रिनाड टोबेगो) 6th →1999 लन्दन
7th → 2003 सूरीनाम 8th → 2007 न्यूयॉर्क
9th→ 2012 द.अफ्रीका (जॉहन्सबर्ग) 10th→2015 भोपाल
11th → 2018 पोर्ट ऑफ लुईस in मॉरीशस
12th → 2021 फिजी में होना था लेकिन अब 2023 में हुआ है। फिजी में 15 से 17 Feb के बीच हुआ
- विदेश मंत्री→ S जयशंकर गये थे
कार्य → हिन्दी को बढ़ावा देने के लिये अनुच्छेद- 351
Note → 2006 से अन्तर्राष्ट्रीय हिन्दी दिवस मनमोहन सिंह द्वारा बनाया जा रहा है
Starting → दूत आवास
10 Jan 2023 अन्तर्राष्ट्रीय हिन्दी दिवस → इन्दौर में
21Feb → अन्तर्राष्ट्रीय मातृभाषा दिवस
Starting → 1999 by UNESCO
- 30 May → हिन्दी पत्रकारिता दिवस
- भारत का पहला समाचार पत्र → द बंगाल गजट (1780 ) by जेम्स हिक्की
(कलकत्ता से निकाला) यह अंग्रेजी का साप्ताहिक समाचार पत्र था ।
- हिन्दी का पहला समाचार पत्र → उदन्त मार्तण्ड by जुगल किशोर (30 – May – 1826)
in कलकत्ता (साप्ताहिक
- 3- August→ राष्ट्रीय कवि दिवस (महात्मा गाँधी ने मैथिलीशरण गुप्त को भारत भारती रचना के लिये राष्ट्रकवि की उपाधि दी थी इसीलिये 3- Augurt राष्ट्रीय कवि दिवस के रूप में मनाया जाता है। 2nd राष्ट्रकवि → रामधारी सिंह दिनकर
- 23 September→ अन्तर्राष्ट्रीय मानक भाषा दिवस
- 3 May → अन्तर्राष्ट्रीय पत्रकारिता स्वतंत्रता दिवस
- हिन्दी वर्तनी का मानकीकरण वर्ष→1967 जबकि वर्णमाला का प्रकाशन→1966
विश्व में बोली जाने वाली भाषाओं का क्रम:- 10- Jan – 2023 से
(1) अँग्रेजी →145 करोड़
(2) मन्दारिन(चाइनिस)/सिनो तिब्बतीयन →111 करोड़
(3) हिन्दी → 60 करोड (4) स्पेनिश → 54 करोड
(5) फ्रेंच → 27. 41 करोड़ 6) अरबी → 27.40 करोड़
(7)बंगाली → 27 करोड़ 27 लाख (8) रूसी → 25.82 करोड
(9) पुर्तगाली → 25.77 करोड़ (10) उर्दू → 23.13 करोड़
- एशिया में सबसे ज्यादा बोली जाने वाली भाषा → मन्दारिन
- एशिया में दूसरे पर बोली जाने वाली भाषा → हिन्दी
- हिन्दी का प्रयोग करने वाले लोग → 60 करोड़
- हिन्दी भाषा का प्रयोग करने वाले देश → 20 +
- हिन्दी पढाई जाती हैं→ 176 University
- हिन्दी में Video देखने वाले व्यक्ति → 93%
- Digital India में हिन्दी की माँग→94%
- अमेरिका के विश्वविधालय में हिन्दी पढ़ाई जाती है→ 45 +
Note → भारत में हिन्दी के विकास के लिये केन्द्रीय हिन्दी समिति की अध्यक्षता प्रधानमंत्री करते है
भाषा का क्रम
संस्कृत → हिन्दी की आदि जननी(1500 ई. पू. से 500 ई. पू.)
पालि → भारत की प्रथम देश भाषा (बौध्द धर्म की भाषा ) (500 ई० पू० से 1 ई.)
Note → कच्चायन के अनुसार पालि ध्वनियाँ→ 41 है, जिनमें 8 स्वर तथा 33 व्यंजन हैं।
‘मोग्गलायन’ के अनुसार, पालि ध्वनियाँ → 43 है, जिनमें 10 स्वर तथा 33 व्यंजन है।
यह भारत की प्रथम ‘देशभाषा’ है।
प्राकृत → जैनियो की भाषा (1 ई० से 500 ई तक )
Note(1) ‘हेमचन्द्र’ को प्राकृत का ‘पाणिनि’ माना जाता है।
(2) ‘जैनसाहित्य’ प्राय: प्राकृत भाषा में रचे गये है।
अपभ्रंश → पालि व प्राकृत का बिगड़ा हुआ रूप(500 ई. से 1000 ई. तक)
अपभ्रंश का प्राचीनतम उदाहरण → भरतमुनि द्वारा रचित नाट्यशास्त्र ग्रंथ में।
Note→ ‘अपभ्रंश’ शब्द का प्राचीनतम प्रामाणिक प्रयोग पतंजलि के द्वारा ‘महाभाष्य’ ग्रंथ
में, जबकि भरतमुनि ने अपभ्रंश के स्थान पर विभ्रष्ट/आभीरोक्ति शब्द का प्रयोग किया। दण्डी अपभ्रंश को ‘आभीर’ भाषा कहते है ।
पिशेल को अपभ्रंश का पाणिनि कहते है
अवहट→ आधुनिक हिन्दी ( 1000 ई. से अब तक)
संस्कृत
वैदिक संस्कृत लौकिक संस्कृत
(वेद, पुराण, उपनिषद) वाल्मीकी, भाष और कालिदास की रचनाएँ
हिन्दी भाषा के लिये हिन्दी शब्द का फारसी में प्रयोग करने वाला→ शरफुद्दीन यजदी
Book → जफरनामा
- हिन्दी का पहला कवि→ सरहपा (9वीं शताब्दी)
- 13 वीं शताब्दी में हिन्दी का प्रयोग करने वाला→ ऑफी
- हिन्दी साहित्य इतिहास लेखन का प्रथम असफल प्रयास करने वाला→ गार्सो दा तार्सी (हिन्दी साहित्य का पहला लेखक ) Book → इस्तवार दा लिटरेचर ए हिन्दुई
- हिन्दी साहित्य इतिहास लेखन का प्रथम सफल इतिहास लिखने वाला→जॉर्ज अब्राहम
गियर्सन । Book → मॉडर्न वर्णाकुलर लिटरेचर ऑफ हिन्दुस्तान in 1889 ( आधुनिक भारत साहित्य का इतिहास )
Note → 1894 में गियर्सन ने भाषा का सर्वेक्षण शुरू किया जो 1927 में पूरा हुआ ।
1929 में रामचन्द्र शुक्ल ने भी हिन्दी साहित्य का आधुनिक इतिहास लिखा |
हिन्दी साहित्य से सम्बंधित साहित्यिक संस्थाएँ
(1) काशीनागरी प्रचारिणी सभा → काशी में 1893 by श्यामसुन्दर दास(सबसे प्राचीन सभा ) (2) हिन्दी साहित्यिक सम्मेलन → इलाहाबाद / प्रयागराज
(3) गुजरात विधापीठ → अहमदाबाद गुजरात 1920
(4) हिन्दुस्तान एकेडमी → इलाहाबाद
(5) हिन्दी प्रचार सभा → चेन्नई मद्रास द० भारत (1927)
प्राचीन नाम→ हिन्दी साहित्यिक सम्मेलन
(6) राष्ट्रीय प्रचार समिति → वर्धा महाराष्ट्र (1936)
(7) हिन्दी अखिल भारतीय संस्था→ नई दिल्ली
Note → महात्मा गाँधी अन्तर्राष्ट्रीय हिन्दी विश्व विधालय वर्धा महाराष्ट्र में है।
जिसकी स्थापना 8-Jan – 1997 । घोषणा → 1996
- महात्मा गाँधी की पत्रिका → बहुजन
- तद्भव पत्रिका → अखिलेश
- आधुनिक राष्ट्रवादी कवि → हैनरी डेरेजियो
- इटालियन ऑफ द ईस्ट→ तेलुगू भाषा
- राष्ट्रपति भवन → हैदराबाद
भाषा को बढ़ावा देने के लिये स्थापित संस्थान
संस्थान स्थान
(1) भारतीय भाषा संस्थान मैसूर (कर्नाटक)
(2) महात्मा गाँधी अन्तर्राष्ट्रीय हिन्दी विश्वविधालय वर्धा (महाराष्ट्र)
(3) अंग्रेजी और विदेशी भाषा विश्वविधालय हैदराबाद (आंध्र प्रदेश)
(4) राष्ट्रीय संस्कृत संस्थान नई दिल्ली
(5) श्रीलाल बहादुर शास्त्री राष्ट्रीय संस्कृत विद्यापीठ नई दिल्ली
(6) राष्ट्रीय संस्कृत विद्यापीठ तिरुपति (आध्र प्रदेश)
(7) मौलाना आजाद राष्ट्रीय उर्दू विश्वविधालय हैदराबाद
(8) शास्त्रीय तमिल केन्द्रीय संस्थान चेन्नई (तमिलनाडु)
U.P. की बोलियाँ / उपभाषा → 17 या 18
बोली→ एक छोटे से क्षेत्र में बोली जाने वाली
उपभाषा→ अगर किसी बोली में साहित्य रचना होने लगती है और क्षेत्र का विस्तार हो जाता है।
भाषा→ जब साहित्यकार अपने साहित्य द्वारा उसे सर्वमान्य रूप प्रदान करा देता है
उपभाषा बोली क्षेत्र
पश्चिमी हिन्दी/पश्चिमी उपभाषा/ Trick→ B. B खडी कब ब्रज का क्षेत्र→मथुरा, वृंदावन ,
शौरसेनी अपभ्रंश B→ ब्रज B→ बॉगरू आगरा, अलीगढ़, बरेली,बंदायू
खडी→ खड़ी बोली एटामैनपुरी, इटावा,
क→कन्नौजी ब→ बुन्देली बुलन्दशहर
पश्चिमी हिन्दी की बोलियाँ
( क्षेत्र – उ.प्रदेश, हरियाणा, दिल्ली, मध्य-प्रदेश, बुन्देलखण्ड)
आकार बहुला ओकार बहुला
→ कौरवी/खडी बोली → ब्रज
→ हरियाणवी / बाँगरू → बुन्देली
→ कन्नौजी
(i) ब्रज / अन्तर्वेदी →By गियर्सन
तजाकिस्तान में नाम→ तजुबेकी ब्रज
ब्रज भाषा के कवि → सूरदास (वात्सल्य रस के सम्राट )
नंददास, बिहारी, भूषण ( वीर रस का सम्राट)
(ii) बाँगरू / हरियाणवी / रांघडी→ रोहतक in हरियाणा
(iii) खड़ी बोली/कौरवी / सरहिन्दी/ हिन्दुस्तानी / वर्णाक्युलर →(राजभाषा का दर्जा प्राप्त)
क्षेत्र →पश्चिमी उ0प्र0, मेरठ, बागपत(सबसे अधिक बोली जाती है),मुजफ्फरनगर, रामपुर, मुरादाबाद, सहारनपुर, बिजनौर, देहरादून का कुछ भाग व दिल्ली का कुछ भाग
खडी बोली के नामकरणकर्ता→ लल्लू लाल व सदल मिश्र (यह साहित्यिक नाम है।)
कौरवी बोली के नामकरणकर्त्ता→ राहुल सांकृत्यायन
Note→ ‘अब्दुल हक’ खडी बोली को ‘गँवारू’ कहते हैं।
→ गिलक्राइस्ट ने खड़ी बोली का अर्थ मानक बताया ।
→ खडी बोली के प्रथम कवि है→ अमीर खुसरो
→ खडी बोली का आदर्श / मानक रूप है→ मेरठ में
→ ‘कौरवी’ नामकरण राहुल सांकृत्यायन ने किया है।
→ कामता प्रसाद गुरु ने खड़ी का अर्थ ‘कर्कश’ बताया है।
(iv) कान्यकुंज / कन्नौजी / व्रज की उपबोली
क्षेत्र→ कन्नौज, फरुखाबाद, कानपुर, हरदोई
(v) बुन्देली –
क्षेत्र→ छतरपुर (U.P + M. P के बॉर्डर पर)
Note→ आल्हा बुन्देली की एक उपबोली बनाफरी में लिखी गई है।
(2) पूर्वी हिन्दी / पूर्वी उपभाषा / अधर्दमागधी अपभ्रंश →
Trick→ अब छत
अ→अवधी ब→ बघेली छत →छत्तीसगढ़ी
(i) अवधी / कौशली / बेसबाडी→
क्षेत्र → लखनऊ (1st), अयोध्या (2nd ), इलाहाबाद, रायबरेली, सीतापुर, गोण्डा बस्ती ।
(ii) बघेली / रीवाई →निबट्ठा
क्षेत्र→ रीवा ( M. P. + U. P के बार्डर पर)
(iii) छत्तीसगढ़ी / लरिया / खलाही→ लोकागीतों की दृष्टि से सम्पन्न लेकिन साहित्य का अभाव है।
क्षेत्र→ रायपुर, बिलासपुर, रायगढ़
(3) बिहारी हिन्दी / बिहारी उपभाषा / मागधी अपभ्रंश
Trick→ भोजन मग्गा मैथी
भोजपुरी मगही मैथिली
- भोजपुरी → अन्तर्राष्ट्रीय महत्व की बोली
भोजपुरी बोली का नामकरणकर्ता→ रेमण्ड
क्षेत्र→ बिहार, बलिया, गाजीपुर, गोरखपुर, आजमगढ़, देवरिया गोण्डा बस्ती ।
→यह भाषा सबसे ज्यादा बोली जाती है लोक साहित्य भी इसमें ही लिखे जाते है।
Note →इकार बहुला → भोजपुरी
Note→ सुरीनाम, मॉरीशस, फ्रेंच, गुआना और सिनेमा जगत में सबसे ज्यादा फिल्म भोजपुरी में बनायी गयी है।
भोजपुरी का शेक्सपीयर→ भारतेन्दु को कहा जाता है ।
भोजपुरी Written by भिखारी ठाकुर
(ii) मगही→ मगही मगध से विकसित हुई थी ।
क्षेत्र→ गया, पटना in बिहार
(iii) मैथिली /विदेह
क्षेत्र→ दरभंगा in बिहार, मुजफ्फरपुर, मुंगेर, मिथिला प्रदेश की बोली
(4) पहाड़ी हिंन्दी/पहाड़ी उपभाषा/खस (शौरसेनी अपभ्रंश से प्रभावित )/ उत्तरी भाषा→
(i) कुल्लई
क्षेत्र → कुल्लू मनाली in H. P. (हिमाचल प्रदेश)
(ii) गढ़वाली
क्षेत्र → टिहरी,गढ़वाल in UK.
(iii) कुमाऊँनी
क्षेत्र→ अल्मोड़ा, नैनीताल in U.k
(5) राजस्थानी हिन्दी / राजस्थानी उपभाषा / दक्षिणी हिन्दी→
Note →‘ट‘ वर्ग बहुला है.
(i) जयपुरी / ढूँढाड़ी (पूर्वी राजस्थानी )
क्षेत्र → जयपुर, अजमेर, किशनगढ़
(ii) मालवी (दक्षिणी राजस्थानी )
क्षेत्र→ उज्जैन, मालवा, इन्दौर, भोपाल in M. P
(iii) मारवाड़ी (पश्चिमी राजस्थानी )
क्षेत्र→ जोधपुर, बीकानेर
(iv) मेवाती (उत्तरी राजस्थानी)
क्षेत्र→ जोधपुर, बीकानेर
(v) रांगडी बोली → दक्षिणी पूर्वी राजस्थानी
राजस्थानी बोली का नामकरणकर्ता→ ग्रियर्सन
Note) (1) निमाड़ी→ खाण्डवा in M.P
(2) भीली → भील जनजाति के द्वारा बोली जाती है
क्षेत्र→ राजस्थान M.P व गुजरात के सीमावर्ती प्रदेश में
Note → वर्तमान में संस्कृत से युक्त खड़ीबोली राजभाषा है जिसका रूप हिन्दी है और जिसका प्रयोग शिक्षा, व्यापार, पत्र-पत्रिकाओ, प्रशासन और सूचना संचार में किया जाता है।
ब्रजबुलि नाम से जानी जाने वाली भाषा→ पुरानी बांगला
हिन्दी भाषा के उदभव और विकास का सही क्रम→
संस्कृत →पालि→ प्राकृत → अपभ्रंश → शौरसेनी →पश्चिमी हिन्दी (खडी बोली)
→ पश्चिमी हिन्दी की सबसे अधिक प्रमुख बोली→
(a) ब्रज 2nd (b) खड़ी बोली 1st
(c ) बुन्देली (d) बाँगरू
Note→ पुरानी हिन्दी, उर्दू और अंग्रेजी के मिश्रण से उत्पन्न नयी भाषा→ हिन्दुस्तानी भाषा
प्रयोग की दृष्टि से किसी भाषा का आदर्श रूप→ मानक भाषा / परिनिष्ठि भाषा
प्राचीन भारतीय आर्य भाषा → वैदिक संस्कृत । केन्द्रीय हिन्दी निदेशालय→ 1960
Q-1 लोधान्ती किस बोली की उपभाषा है
- छत्तीसगढ़ी (c ) बुन्देली
- गढ़वाली (d) मालवी
अपभ्रंश की विभिन्न शाखाएँ तथा उससे विकसित आधुनिक भारतीय भाषाएँ →
1) शौरसेनी अपभ्रंश→ परिचमी हिन्दी, राजस्थानी, गुजराती पहाड़ी, मध्यवर्ती भारत
(2) मागधी अपभ्रंश → बिहारी, बंगला, उड़िया (ओड़िया), असमिया (असमी), पूर्वी भारत की भाषाएँ
(3) v/nZekx/kh अपभ्रंश → पूर्वी हिन्दी, मध्य-पूर्वी भारत की भाषाएँ
(4) ब्राचड – पैशाची अपभ्रंश→ सिन्धी, लहँदा, पंजाबी, पश्चिमोत्तरी भारत की भाषाएँ
(5) महाराष्ट्री अपभ्रंश → मराठी, दक्षिणी भारत की भाषाएँ
प्रमुख आधुनिक भारतीय आर्यभाषाएँ एवं उनकी बोलियाँ
(1) सिन्धी→बोलियाँ – विचोली, लासी, लाड़ी, परेली, कच्छी, सिराइकी (सिराकी)।
(2)मराठी→ बोलियाँ – कोंकणी, नागपुरी, कोष्टी, थगरी, ,माहारी
(3) लहँदा → बोलियाँ – पश्चिमी पंजाबी, हिन्दकी डिलाही, मुल्तानी ।
(4) पंजाबी → बोलियाँ – डोंगरी, दोआबी, राठी, माझी इत्यादि ।
(5) उड़िया→(ओडिया) बोलियाँ – सम्बलपुरी, देसिया,कटकी, गंजामी इत्यादि ।
Note→ बौध्द ग्रंथ पालि भाषा में लिखे गये है।
प्राचीनतम जनभाषा→ प्राकृत भाषा ( द्वितीय प्राकृत ) वररुचि प्राकृत के वैयाकरण है।
→ अवधी बोली फिजी देश में भी बोली जाती है।
→ वैदिक संस्कृत में कुल 52 वर्ण थे. जिसमें 13 स्वर तथा 39 व्यंजन थे।
→ पालि भाषा का क्षेत्र→ मध्य देश (सर्वसम्मति )
→ अपभ्रंश को मध्यकालीन तथा आधुनिक भारतीय आर्यभाषाओं की कड़ी / सन्धि – भाषा कहा जाता है।
→ देवकी नन्दन खत्री की रचना चन्द्रकान्ता को पढ़ने के लिये लोगो को हिन्दी पढ़नी पड़ी
बीजापुर गोलकुण्डा
दक्खिनी हिन्दी
अहमदनगर हैदराबाद
समकालीन भारतीय साहित्य पत्रिका के प्रकाशक →साहित्य अकादमी
संसदीय राजभाषा समिति के अध्यक्ष : गृह मन्त्री भारत